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The Haryana Story | लंदन में हरियाणवी संस्कृति की "धाक'' : भारतीय उच्चायोग में हरियाणा दिवस का भव्य आयोजन

लंदन में हरियाणवी संस्कृति की "धाक'' : भारतीय उच्चायोग में हरियाणा दिवस का भव्य आयोजन

भारतीय उच्चायोग में हरियाणा दिवस सहित अन्य राज्यों की संस्कृति का हुआ रंगारंग प्रदर्शन, ओलंपिक पदक विजेताओं वह मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने दीं शुभकामनाएं

प्रतीकात्मक तस्वीर

भारतीय संस्कृति और विविधता को विदेशों में जीवित रखने के प्रयासों के तहत लंदन स्थित भारतीय उच्चायोग में हरियाणा दिवस और अन्य नौ राज्यों के स्थापना दिवस का भव्य आयोजन किया गया। कार्यक्रम की शोभा बढ़ाने के लिए यूके में भारत के राजदूत, के. दुरईस्वामी ने मुख्य अतिथि के रूप में अपनी उपस्थिति दर्ज कराई।

भारतीय मूल के लोगों को अपनी जड़ों से जोड़े रखने का अद्वितीय अनुभव

इस आयोजन में हरियाणवी लोक नृत्य, संगीत और अन्य सांस्कृतिक कार्यक्रमों ने भारतीय मूल के लोगों को अपनी जड़ों से जोड़े रखने का अद्वितीय अनुभव दिया। कार्यक्रम को विशेष बनाने के लिए ओलंपिक पदक विजेताओं नीरज चोपड़ा और मनु भाकर को मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने भी वीडियो संदेश के माध्यम से अपनी शुभकामनाएं दीं और हरियाणा एसोसिएशन के प्रयासों की सराहना की। उन्होंने हरियाणा की संस्कृति को विदेशों में बढ़ावा देने के लिए अपने समर्थन का संदेश भेजा। 

मुख्यमंत्री एसोसिएशन की इस सराहनीय पहल की प्रशंसा की

हरियाणा इन यूके के अध्यक्ष  कुलदीप अहलावत ने इस आयोजन का नेतृत्व किया और प्रवासी भारतीय समुदाय के बीच हरियाणवी संस्कृति को जीवंत बनाए रखने के लिए किए जा रहे प्रयासों पर प्रकाश डाला। हरियाणवी लोक कला की प्रस्तुति और अन्य सांस्कृतिक गतिविधियों ने दर्शकों को भारत के विभिन्न राज्यों की समृद्ध धरोहर से रूबरू कराया।

इस अवसर पर हरियाणा के मुख्यमंत्री ने भी अपने संदेश में हरियाणा एसोसिएशन की इस सराहनीय पहल की प्रशंसा की। यह आयोजन विदेशों में बसे भारतीयों के लिए न केवल अपनी संस्कृति के प्रति गर्व का अनुभव कराने वाला था बल्कि इसने उनकी मातृभूमि से जुड़े रहने की भावनाओं को और भी गहरा कर दिया। 

कुलदीप अहलावत हरियाणवी संस्कृति के संवाहक

कुलदीप अहलावत, रोहतक के मूल निवासी, इंग्लैंड में हरियाणवी संस्कृति को जीवित रखने के लिए निरंतर प्रयासरत हैं। हरियाणा इन यूके के प्रमुख के रूप में, उन्होंने यूके में हरियाणवी संस्कृति और खेलों को प्रोत्साहन देने का बीड़ा उठाया है। उनकी पहल पर, पेरिस ओलंपिक में अमन शेरावत और नीरज चोपड़ा जैसे हरियाणवी खिलाड़ियों का पदक जीतने पर विशेष सम्मान दिया गया।

आज हरियाणवी संस्कृति इंग्लैंड में एक पहचान बना चुकी

कॉमनवेल्थ खेलों के दौरान भी कुलदीप ने खिलाड़ियों का उत्साह बढ़ाया और उन्हें हरियाणवी परंपराओं के साथ जोड़ने का काम किया। उनके प्रयासों के कारण आज हरियाणवी संस्कृति इंग्लैंड में एक पहचान बना चुकी है और भारतीय मूल के लोग अपनी संस्कृति के प्रति गर्वित महसूस करते हैं। कुलदीप अहलावत के समर्पण और उत्साह से हरियाणवी संस्कृति न केवल इंग्लैंड में बल्कि वैश्विक मंच पर भी मजबूती से स्थापित हो रही है।

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