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दादा पर बाहरी का टैग - जसबीर देशवाल को भावी विधायक के रूप में देख रहा सफीदों

दादा पर बाहरी का टैग - जसबीर देशवाल को भावी विधायक के रूप में देख रहा सफीदों

सफीदों विधानसभा सीट पर तमाम विश्लषणों के बाद जो तस्वीर सामने आ रही है, उसमें जसबीर देशवाल का पलड़ा ज्यादा भारी नज़र आ रहा है।

प्रतीकात्मक तस्वीर

विधानसभा चुनाव को लेकर प्रदेश में प्रचार-प्रसार अपने चरम पर है। पार्टी उम्मीदवार हों या निर्दलीय उम्मीदवार पूरी ताकत के साथ चुनावी जंग में अपनी जीत सुनिश्चित करने की पुरज़ोर कोशिश में हैं। फ़िलहाल प्रदेश में सफीदों सीट भी काफी चर्चा का विषय बनी हुई है। जिसके मुख्य दो कारण हैं पहला यहां के लोगों बाहरी प्रत्याशी को कभी भाव नहीं दिया, दूसरा टिकट के लिए 75 साल की अधिकतम उम्र का पैमाना तय कर अपने ही दिग्गजों को किनारे लगाने वाली भाजपा ने जींद जिले की सफीदों विधानसभा सीट से जेजेपी से बाग़ी 78 साल के रामकुमार गौतम को टिकट देकर मैदान में उतारा है।

जसबीर देशवाल का पलड़ा ज्यादा भारी नज़र आ रहा

तो बाहरी प्रत्याशी होने और एज फैक्टर के कारण दादा गौतम का पहले से ही विरोध शुरू हो चुका है। कांग्रेस प्रत्याशी सुभाष गांगोली को दूसरा मौका मिला है, मतलब की जनता एक बार उनको आजमा चुकी है, तो ऐसे में निर्दलीय उम्मीदवार जसबीर देशवाल जनता की पहली पसंद बन रहे है। हालांकि आजाद उम्मीदवार के तौर पर बचन सिंह आर्य भी मैदान में हैं, लेकिन तमाम विश्लषणों से जसबीर देशवाल का पलड़ा ज्यादा भारी नज़र आ रहा है।

दादा नै नारनौंद में के विकास करैया ?

सफीदों की जनता का कहना है कि गौतम दादा नै नारनौंद में के विकास करैया ? पहलां वो बताएं। उनका कहना है कि सफीदों के लोग नै अनपढ़ या बेसमझ समझण की भूल न करें। यहां की जनता जागरूक है और उन्है समझ है कि हामनै आपणे लिए कैसे नेता को चुनना है। यहां की जनता यहीं के उम्मीदवार नै आजमाती है तो बाहरी नै भगाती है। जनता का दादा गौतम से सवाल है कि किस आधार पै यहां के लोग उन्हें स्वीकार करें। 

ये बहुत विरोधी धरती है यहां ना किसी के पैर लागण देंगे

गौतम दादा नै आपणे क्षेत्र में तो आजतक कोई विकास कार्य कराए नी, तो यहां के विकास करेंगे। इतने उम्रदराज़ होण के बावजूद टिकट चाह में जेजेपी छोड़ भाजपा में शामिल हो गए, तो जो आपणे क्षेत्र और अपणी पार्टी का नी हो सका वो हमारा कैसे हो सकता है। लोगों का कहना है कि "के सोचै कि चार दिन बोल कै भाषण करकै के कि विकास करेंगे, सफीदों को सोच रे कि यहां के लोग अनपढ़ हैं, ये गलत फैहमी है उनकी कि सफीदों की जनता उनको मौका देगी। सफीदों नागों का क्षेत्र है, यहां बड़े-बड़े नागों को मारा है तो ये दादा गौतम तो छोटे नाग है। ये बहुत विरोधी धरती है यहां ना किसी के पैर लागण देंगे। 

जनता की रूचि और रुझान जसबीर के पक्ष में  

वहीं सफीदों की जनता जसबीर देशवाल को अपने सामने एक विकल्प के रूप में देख रही हैं। सफीदों की जनता ने रणबीर देशवाल को विधायक बनाने का मन बनाया है। यहां की जनता की रूचि और रुझान ये संकेत दे रहे हैं कि जसबीर देशवाल बहुमत हासिल कर विधानसभा तक पहुंचेंगे। वहीं जसबीर ने एक कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा कि  2014 से 2019 के अपने 5 वर्ष के कार्यकाल में सफीदों में 600 करोड़ से अधिक के विकास कार्य करवाए हैं। असंख्य युवाओं को नौकरी दी है और दिलाई है। उन्होंने कहा लोगों का आशीर्वाद मिला तो सफीदों से बेरोजगारी मिटा कर ही दम लेंगे।

आईएमटी में कई उद्योग धंधे स्थापित करवाए जाएंगे : जसबीर 

देशवाल ने दावा किया यदि वह विधायक बने तो सफीदों में आईएमटी इंडस्ट्रियल मॉडल टाउनशिप बनवाकर बेरोजगारी की समस्या को हमेशा के लिए खत्म किया जाएगा। एक्स्प्रेस वे 152-डी बनने के दौरान ही आईएमटी का मसौदा तैयार किया था। एक्सप्रेस वे के दोनों तरफ आईएमटी में कई उद्योग धंधे स्थापित करवाए जाएंगे। योग्यतानुसार हर युवा को रोजगार मिलेगा। वहीं जनता द्वारा भी जसबीर को खासा समर्थन प्राप्त हो रहा है, जिससे जसबीर एक मजबूत स्थिति में नज़र आ रहे हैं। 

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