भाजपा फिर से केंद्र में सरकार बनाने की कोशिश में जुटी, खट्टर की जीत इसके लिए अहम साबित हो सकती है हरियाणा की करनाल लोकसभा सीट पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के मनोहर लाल खट्टर काफी बड़ी बढ़त बना चुके हैं। मतगणना की नवीनतम रुझानों के मुताबिक, पूर्व मुख्यमंत्री खट्टर अपने निकटतम प्रतिद्वंद्वी इंडियन यूथ कांग्रेस के दिव्यांशु बुधिराजा से 177557 वोटों से आगे चल रहे हैं।
साल 1994 में आरएसएस छोड़कर भाजपा में शामिल हुए खट्टर, पहली बार लोकसभा चुनाव लड़ रहे हैं। वे 2014 से 2024 तक हरियाणा के मुख्यमंत्री रहे। करनाल सीट से उनकी उम्मीदवारी भाजपा के लिए काफी महत्वपूर्ण है, क्योंकि पार्टी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में तीसरी बार लगातार केंद्र में सत्ता में वापसी की कोशिश कर रही है।
करनाल लोकसभा क्षेत्र में घरौंदा, पानीपत सिटी, करनाल, पानीपत रूरल, इंदौरा, असंध, इसराना, निलोखेरी और समालखा सहित नौ विधानसभा क्षेत्र शामिल हैं। इस सीट पर 25 मई को छठे चरण के दौरान मतदान हुआ था। 2019 के लोकसभा चुनाव में भाजपा के संजय भाटिया ने करनाल सीट जीती थी। उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी को करीब 50.44% वोटों के अंतर से हराया था।
खट्टर की राजनीतिक यात्रा भाजपा के उदय से गहरे तौर पर जुड़ी हुई है। वे 1977 में आरएसएस में शामिल हुए और 14 साल तक पूर्णकालिक प्रचारक रहे। साल 2014 में उन्होंने करनाल विधानसभा सीट से अपना पहला चुनाव लड़ा और जीता। इसके बाद वे हरियाणा के पहले भाजपा मुख्यमंत्री बने।
प्रधानमंत्री मोदी और खट्टर के बीच गहरी दोस्ती है। दोनों आरएसएस से जुड़े रहे हैं और मोदी ने खुलकर कहा है कि वे हरियाणा में साथ-साथ मोटरसाइकिल चलाया करते थे।
केंद्र में तीसरी बार लगातार सत्ता में वापसी की कोशिश में भाजपा के लिए खट्टर की करनाल सीट से बढ़त एक अहम कड़ी साबित हो सकती है। राजनीतिक विशेषज्ञ इस नतीजे को पूरे देश की राजनीति को आकार देने वाला मान रहे हैं। अंतिम परिणाम न केवल उम्मीदवारों की किस्मत तय करेंगे बल्कि आगामी 5 सालों के लिए देश की राजनीतिक दिशा भी निर्धारित करेंगे।
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