सांसद एवं केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना छोटे एवं सीमांत किसानों के लिए आर्थिक मजबूती का सबसे बड़ा माध्यम बनकर उभरी है। सरकार द्वारा हर चार महीने में दी जाने वाली वित्तीय सहायता ने लाखों किसानों को खेती के मौसमी खर्च पूरे करने में बड़ी राहत दी है। वे बुधवार को गांव शिकोहपुर में गुरुग्राम जिला के पात्र किसानों के खातों में डीबीटी के माध्यम से किसान सम्मान निधि की 21वीं किस्त चार करोड़ रुपये से अधिक की राशि ट्रांसफर करने के दौरान समारोह में बोल रहे थे। कार्यक्रम के दौरान कोयम्बटूर से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संबोधन का सजीव प्रसारण भी किया गया।
किसानों से प्राकृतिक खेती, जैविक खाद और वैकल्पिक जैविक तरीकों को अपनाने की अपील की
केंद्रीय मंत्री ने किसानों को संबोधित करते हुए कहा कि अत्यधिक पेस्टीसाइड और रासायनिक खादों का अनियंत्रित उपयोग मिट्टी की उर्वरा शक्ति घटाता है, भूजल को प्रदूषित करता है और फसलों की गुणवत्ता पर गंभीर प्रभाव डालता है। उन्होंने किसानों से प्राकृतिक खेती, जैविक खाद, गोबर खाद और वैकल्पिक जैविक तरीकों को अपनाने की अपील की, जिससे भूमि की सेहत लंबे समय तक सुरक्षित रह सके और लागत भी कम हो। राव ने मोटा अनाज (मिलेट्स) के महत्व पर भी जोर देते हुए कहा कि बाजरा, ज्वार, रागी जैसे मोटे अनाज पोषक तत्वों से भरपूर हैं तथा कम पानी में भी सफलतापूर्वक उगाए जा सकते हैं।
केंद्र और हरियाणा सरकार मिलकर खेती को आधुनिक, लाभकारी बनाने के लिए काम कर रही
उन्होंने कहा कि हरियाणा के पारंपरिक भोजन का हिस्सा रहे इन अनाजों को अब अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी श्री अन्न के रूप में मान्यता मिल रही है। उन्होंने किसानों से आग्रह किया कि वे अपने आहार में भी मोटे अनाज शामिल करें और खेती में भी इसका क्षेत्र बढ़ाने पर विचार करें, ताकि स्वस्थ समाज के साथ-साथ टिकाऊ कृषि को भी बढ़ावा मिल सके। राव इंद्रजीत सिंह ने कहा कि केंद्र सरकार और हरियाणा सरकार दोनों मिलकर खेती को आधुनिक, लाभकारी और टिकाऊ बनाने के लिए काम कर रही हैं। केंद्र सरकार ने प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना, पीएम-किसान, किसान क्रेडिट कार्ड विस्तार, ड्रोन आधारित कृषि सहायता, मिलेट्स को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बढ़ावा देने और एग्री-स्टार्टअप्स को प्रोत्साहन जैसी कई ऐतिहासिक पहलें की हैं।
मंडियों के डिजिटलीकरण और कृषि यंत्रों पर सब्सिडी जैसे कदम उठाए
इससे किसानों को आधुनिक तकनीक, जोखिम-रहित फसल सुरक्षा और बाजार में बेहतर अवसर मिल रहे हैं। हरियाणा सरकार ने भी पराली प्रबंधन, सूक्ष्म सिंचाई प्रणाली, फसल विविधीकरण (विशेषकर धान क्षेत्र में कमी), मंडियों के डिजिटलीकरण और कृषि यंत्रों पर सब्सिडी जैसे कदम उठाए हैं। केंद्रीय मंत्री ने इस अवसर पर कृषि विज्ञान केंद्र द्वारा तैयार किए गए गेहूं के विशेष वैरायटी एचडी 3298 भी वितरित की। कार्यक्रम में पटौदी की विधायक बिमला चौधरी, गुरुग्राम के विधायक मुकेश शर्मा तथा सोहना के विधायक तेजपाल तंवर भी मौजूद रहे।
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