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The Haryana Story | ब्रह्मसरोवर का बदलेगा स्वरूप, परिक्रमा पथ पर लगे लाल पत्थरों में होगा बदलाव, श्रद्धालु नंगे पांव सहजता से कर सकेंगे परिक्रमा

ब्रह्मसरोवर का बदलेगा स्वरूप, परिक्रमा पथ पर लगे लाल पत्थरों में होगा बदलाव, श्रद्धालु नंगे पांव सहजता से कर सकेंगे परिक्रमा

केडीबी की 82 वीं वार्षिक बैठक में ब्रह्मसरोवर परिसर में परिक्रमा पथ बदलने को सीएम ने दी हरी झंडी

प्रतीकात्मक तस्वीर

महाभारत स्थली कुरुक्षेत्र स्थित ब्रह्मसरोवर पर श्रद्धालु नंगे पांव सहजता के साथ परिक्रमा कर सकेंगे। गर्मी में तपने वाले लाल पत्थर को बदलकर लाल कंक्रीट या लाल कॉबल स्टोन लगाया जाएगा। इसके साथ ही परिक्रमा पथ का नवीनीकरण भी किया जाएगा। ब्रह्मसरोवर के परिक्रमा पथ पर लगा लाल पत्थर अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव के दौरान वाहनों की आवाजाही के चलते क्षतिग्रस्त हो जाता है। हर वर्ष इसकी मरम्मत पर लाखों रुपये खर्च होते हैं। यही नहीं, गर्मी के दिनों में इस लाल पत्थर पर तपन के चलते श्रद्धालु परिक्रमा करने से वंचित हो जाते हैं। लिहाजा, कुरुक्षेत्र विकास बोर्ड की ओर से लाल पत्थर को बदलने की योजना तैयार की गई है।

ब्रह्मसरोवर के नवीनीकरण और लाल पत्थर को बदलने के एजेंडे पर चर्चा

अभी हाल ही में केडीबी के अध्यक्ष एवं राज्यपाल तथा मुख्यमंत्री नायब सैनी की अध्यक्षता में आयोजित हुई कुरुक्षेत्र विकास बोर्ड की 82 वीं बैठक में ब्रह्मसरोवर के नवीनीकरण और लाल पत्थर को बदलने के एजेंडे पर चर्चा हुई। मुख्यमंत्री द्वारा लाल पत्थर को बदलने की हरी झंडी दे दी है। संभावना जताई जा रही है कि जल्द ही ब्रह्मसरोवर के परिक्रमा पथ पर लगे लाल पत्थर को बदलने का कार्य शुरू होगा। ब्रह्मसरोवर के परिक्रमा पथ पर लगा लाल पत्थर तापरोधी यानी गर्मी को सहन करने वाला नहीं है। इसके साथ ही अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव के दौरान लगने वाले क्राफ्ट मेले में वाहनों की आवाजाही के चलते लाल पत्थर क्षतिग्रस्त हो जाता है, जिसके चलते इसकी मरम्मत पर हर वर्ष लाखों रुपये की राशि खर्च होती है।

ब्रह्मसरोवर परिसर के 3.25 किलोमीटर की परिधि में लगे लाल पत्थर में बदलाव होगा

लिहाजा, केडीबी की ओर से इसका स्थायी समाधान निकालने के लिए की योजना तैयार की गई है। तीर्थ परिसर में वाहनों की क्षमता को सहन करने वाले लाल कंक्रीट या फिर लाल कॉबल स्टोन लगाया जाए, ताकि हर वर्ष मरम्मत पर आने वाले खर्च से बचत हो सके। ब्रह्मसरोवर परिसर के 3.25 किलोमीटर की परिधि में लगे लाल पत्थर में बदलाव होगा। लाल पत्थर की जगह लाल कॉबल स्टोन लगाने पर 10 से 12 करोड़ रुपये की राशि खर्च होने का अनुमान है। वहीं, केडीबी की गर्मी प्रतिरोधी पत्थरों और लाल पत्थरों की स्थापना के साथ ब्रह्म सरोवर के परिक्रमा पथ को नया रूप देने की देने की योजना है। क्योंकि हर साल बड़ी संख्या में पर्यटक और श्रद्धालु ब्रह्म सरोवर आते है और क्षतिग्रस्त पत्थर बोर्ड के लिए चिंता का विषय रहता है। 

पुरुषोत्तमपुरा बाग का सौंदर्यकरण जरूरी

ब्रह्मसरोवर पर स्थित पुरुषोत्तमपुरा बाग अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव में आकर्षण का केंद्र रहता है। पुरुषोत्तमपुरा बाग में बने आरती स्थल में हर रोज बड़ी संख्या में श्रद्धालु हिस्सा लेते हैं। वहीं, गीता महोत्सव के दौरान मुख्य कार्यक्रमों का आयोजन और विभागों की प्रदर्शनी यहीं लगाई जाती है। लिहाजा, पर्यटकों की आवाजाही और मुख्य कार्यक्रमों के आकर्षण को देखते हुए पुरुषोत्तमपुरा बाग का सौंदर्यकरण जरूरी है। कुरुक्षेत्र विकास बोर्ड की 82वीं बैठक में इसे हरी झंडी दी गई है। 

ब्रह्मसरोवर के परिक्रमा पथ का नवीनीकरण होने से आकर्षण बढ़ेगा

पुरुषोत्तमपुरा बाग के सौंदर्यकरण पर 2 करोड़ रुपये की राशि खर्च होने का अनुमान है गीता मनीषी स्वामी ज्ञानानंद महाराज का कहना है कि अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव के दौरान ब्रह्मसरोवर पर लाखों की संख्या में पर्यटक और श्रद्धालु आते हैं, जो मेला अवलोकन के दौरान ब्रह्मसरोवर की परिक्रमा भी करते हैं। ब्रह्मसरोवर के परिक्रमा पथ का नवीनीकरण होने से आकर्षण बढ़ेगा और सामान्य दिनों में आने वाले श्रद्धालु सहजता के साथ परिक्रमा भी कर सकेंगे। मुख्यमंत्री नायब सैनी द्वारा ब्रह्मसरोवर के परिक्रमा पथ को नवीनीकरण को मंजूरी दी गई है। मुख्यमंत्री नायब सैनी गीता के ज्ञान को वैश्विक स्तर पर पहुंचाने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं। 

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